नमस्कार दोस्तों क्या आप जानते है कि फाइनेंसियल प्लांनिग क्या है, फाइनेंसियल प्लांनिग क्यों जरूरी है और फाइनेंसियल प्लांनिग कैसे करें ? (All you need to know about Financial Planning in Hindi ).
दोस्तों हम सभी के लाइफ में पैसे की क्या अहमियत है, ये किसी को बताने की जरूरत नहीं है।
हर किसी को अपनी छोटी से छोटी और बड़ी जरूरतों का पूरा करने के लिए पैसो की जरूरत पड़ती है।
लेकिन दोस्तों आप मुझसे जरूर सहमत होंगे की सिर्फ अच्छा पैसा कामना ही जरूरी नहीं बल्कि उन पैसो को सही इस्तेमाल करना ज्यादा जरूरी है।
जिससे आप को कभी भी पैसो की वजह से लाइफ में कोई परेशानी न आये।
तो दोस्तों चलिए फिर आज से इस पोस्ट में हम समझते है कि फाइनेंसियल प्लांनिग क्या है, फाइनेंसियल प्लांनिग क्यों जरूरी है, और फाइनेंसियल प्लांनिग कैसे करें?
फाइनेंसियल प्लांनिग क्या है (Financial Planning in Hindi):
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दोस्तों फाइनेंसियल प्लांनिग का मतलब होता है कि आप अपने फाइनेंस को प्लान करना या मैनेज करना ? जैसेकि आपकी इनकम के हिसाब से आपके अच्छे भविष्य के लिए बजट बनाना, इन्शुरन्स लेना, अच्छे इन्वेस्टमेंट करना, इत्यादि।
जिससे आप अपने लाइफ में कोई भी फाइनेंसियल लक्ष्य प्राप्त कर सकते है। चाहे वो कुछ शालो बाद का सपना हो, या बहुत शालो बाद का।
फाइनेंसियल प्लानिंग में आप अपने घर, कार, बच्चे की एजुकेशन, मेडिकल, रेटायर्मेंट इत्यादि शामिल कर सकते है।
फाइनेंसियल प्लानिंग क्यों जरूरी है (Why Financial Planning is necessary in Hindi):
दोस्तों अगर आपके पास कोई फाइनेंसियल प्लानिंग नहीं है की तो आपका पैसा किधर भी खर्च हो जायेगा। जोकि फिजूल खर्च है। लेकिन अगर आपने फाइनेंसियल प्लानिंग कर रखा है, तो आपका पता होगा की आपका पैसा कहाँ जाने वाला है। जिससे आप बजट में रहकर ही कोई खर्च करते है।
फाइनेंसियल प्लानिंग कैसे करें ( How to make Financial Planning in Hindi ):
दोस्तों अभी तक मैंने आपको बताया की फाइनेंसियल प्लानिंग क्या है, और फाइनेंसियल प्लानिंग क्यों करें। आइये अब जानते है की फाइनेंसियल प्लानिंग कैसे करें।
दोस्तों फाइनेंसियल प्लानिंग करने के लिए आपके सभी लाइफ गोल को नोट करें। और ये फैसला करें कि आपको कितना पैसा और कब तक चाहिए।
बजट बनायें (Make Budget):
दोस्तों फाइनेंसियल प्लानिंग की शुरुवात बजट बनाने से होती। सही बजट फाइनेंसियल प्लानिंग का बहुत अहम् हिस्सा है।
अगर आपने अपना प्रॉपर बजट बना रखा है, तो आपको पता होगा कि आपका कितना पैसा आपके मंथली खर्चे में जाना है।
कितना बच्चो की एजुकेशन में, कितना पैसा मेडिकल और इन्शुरन्स में और कितना फ्यूचर इन्वेस्टमेंट में।
चलिए मान लेते है कि आपका मंथली इनकम 30000 है, जिसमे से 50 % यानि कि 15000 में आपका घर का रेंट और खर्चा चला जाता है और 5000 बच्चे की एजुकेशन और 5000 इमरजेंसी के लिए हर महीने सेविंग करते है और बाकि आप इन्वेस्ट कर सकते है।
रेटायर्मेंट के लिए बचायें (Save for Retirement) :
दोस्तों आज की तारीख में हमारी बॉडी लगभग हर तरीके से सक्षम है जिससे हम आज कोई भी जॉब या बिज़नेस करके अच्छा पैसा बना सकते है।
लेकिन दोस्तों जब उम्र ढलती है और आप रेटायर्मेंट का टाइम आ जाता है, तो आपके खर्चे भी ज्यादा होते है और इनकम भी जीरो हो जाती है।
इसीलिए रेटायर्मेंट के लिए सेविंग करना बहुत जरूरी है। क्योकि उस समय आप के मेडिकल बिल भी ज्यादा आएंगे और आपकी इनकम भी न के बराबर होगी।
हमारे देश भारत में बहुत से लोग अपने रेटायर्मेंट अपने बच्चो के ऊपर छोड़ देते है।
लेकिन दोस्तों अगर आप मुझसे पूछेंगे तो मैं आपको बोलूंगा कि ये सही नहीं है कि आप किसी पे बोझ बने।
इसीलिए आपको अपने इनकम को कुछ परसेंटेज अपने रेटायर्मेंट के लिए बचायें।
बच्चो की हायर एजुकेशन के लिए बचायें (Save for Children’s Higher Education):
दोस्तों अगर आप शादी -सुधा है, और बच्चे भी है, तो आपको उनके करियर के जरूर सोचना चाहिए खास करके हायर एजुकेशन के बारे में।
बेसिक एजुकेशन तो किसी न किसी तरीके से मैनेज कर लेंगे।
लेकिन दोस्तों जब हायर एजुकेशन की बात आती है, तो एक साथ बहुत ज्यादा पैसो की जरूरत पड़ती है।
इसीलिए दोस्तों अगर आप अपने बच्चो की हायर एजुकेशन के लिए जरूर बचायें।
बच्चो की हायर एजुकेशन के इन्वेस्टमेंट के लिए बैंको के पास बहुत से ऑप्शन है।
या फिर आप शेयर मार्किट, म्यूच्यूअल फंड, LIC इत्यादि में भी इन्वेस्ट कर सकते है।
लोन को टाइम पे चुकाये (Pay off Loan on time):
दोस्तों अगर आपने पहले से ही बैंक से कोई पर्सनल लोन ले रखा है, या फिर क्रेडिट कार्ड बिल पेंडिंग है, तो उसे टाइम पे भरें। और अगर पॉसिबल है, तो उसे टाइम से पहले ही फुल पेमेंट कर दें।
क्योकि दोस्तों पर्सनल लोन या फिर क्रेडिट कार्ड लोन का इंटरेस्ट रेट बहुत ज़्यादा होता है। और ये आपको हर महीने काफी टेंशन देता है।
अगर आप रेगुलर क्रेडिट कार्ड यूजर है, तो इसे संभाल कर यूज़ करें।
जिससे आपका क्रेडिट स्कोर बराबर बना रहें और अगर भविस्य में कभी आपको बैंक से लोन चाहिए, तो आसानी से मिल सके।
इमरजेंसी के लिए बचायें (Save for Emergency):
दोस्तों हमारी लाइफ में कई बार इमरजेंसी सिचुएशन आती है जब हमें इमरजेंसी फण्ड की जरूरत पड़ती है।
जैसेकि मेडिकल इमरजेंसी, होम शिफ्टिंग, बेरोजगारी इत्यादि।
इसीलिए आपको अपनी इनकम का कुछ भाग इमरजेंसी सिचुएशन के लिए जरूर रखना चाहिए।
ताकि आपको उन इमरजेंसी सिचुएशन में लोगो के हेल्प की जरूरत नहीं पड़ेगी।
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दोस्तों आज के इस पोस्ट में हमें जाना कि फाइनेंसियल प्लांनिग क्या है, फाइनेंसियल प्लांनिग क्यों जरूरी है, और फाइनेंसियल प्लांनिग कैसे करें?
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