जो लोग Share market के बारे में थोड़ी बहुत भी जानकारी रखते है, उन्होंने अक्सर इसके बारे में ज़रूर सुना होता है।
Demat account, हो सकता है आपने भी ये सुना हो। पहले तो नहीं लेकिन अब Share market में इसकी एहमियत है।
जिस तरह से दोस्तों हमारा सबका एक Bank account होता है और उस Account के हम सबका अपने पैसों को रखते हैं न, बिल्कुल उसी तरह से ये Demat account भी होता है।
इस Account में आप अपने Shares को रखते हैं। इसको आप Digital फॉर्म में रखते हैं इसीलिए इसकी जो सुरक्षा होती है वो भी Electronic तरीके से की जाती है।
दोस्तों इसके अलावा जैसे Bank account में Debit कर Credit होता है वैसे ही इसमें भी होता है।
Share market में बने रहने के लिए आपके पास Demat account का होना बेहद जरूरी है। इसके लिए SEBI ने भी दिशा निर्देश जारी किए हैं।
SEBI के अनुसार आप Demat के अलावा किसी भी अन्य तरीके से Share को न तो खरीद ही सकते हैं और न ही उन्हें बेच सकते हैं।
ऐसे में अगर आप Share market में Stock को खरीदना या फिर बेचना चाहते हैं तो आपके लिए इस Account का होना अनिवार्य है।
दोस्तों अगर आपको पहले का Share market याद हो तो उसमें क्या होता था कि आप पहले किसी कंपनी के Share खरीदते थे।
इसके बाद कंपनी उस Share से जुड़े कागज आपके पास भेजती थी। ये वो कागज होते थे जो एक Proof के तौर पर काम करते थे।
जिसका मतलब ये होता था कि आपने उस कंपनी से Share लिया है और आप उसमें Invest कर रहे हैं।
जब से Share market में Demat की धमाकेदार Entry हुई है तब से ये सब कुछ बदल चुका है।
आज हम इस Article में यही देखेंगे कि Demat के आने से Share market में क्या बदला है और ये होता क्या है।
क्या होता है Demat account?
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दोस्तों अभी हम आपको इसको थोड़ा आसान तरह से समझाते हैं। जब पैसे हमारे Bank account में होते हैं तो वो एक Digital currency के रूप में होते हैं।
उस समय उनका भौतिक रूप हमारे पास ने नही। होता है। लेकिन जब हम पैसों को Credit तथा Debit card के जरिए निकालते हैं तो वो हमारे पास भौतिक रूप में आ जाते हैं।
इसके अलावा जब हैं किसी और को पैसे Transfer करते हैं तब हम Digital payment method या फिर Electronic money transfer जैसे प्रारूप का इस्तेमाल करते हैं।
जब हमारे Share Demat account में होते हैं तब हम उन्हें Digitally किसी दूसरे व्यक्ति के Account में Transfer कर सकते हैं।
जब हम Digital तौर पर Share का आदान प्रदान कर सकते हैं तो हमें भौतिक रूप में भी उन्हें रखने की ज़रूरत नहीं होती है।
एक तरह से Demat यही है। यानी कि Digital रूप में Share को रखना। ये तो एक Short term हम लोग इस्तेमाल करते हैं।
इसका पूरा नाम होता है ‘Dematerialize’, वहीं जब आप Share आदि को भौतिक रूप में बदलते हैं तो उस Process को ‘Dematerialisation’ कहते हैं।
अभी हमने आपसे यही बात की। आज के समय मे दुनिया दो कदम आगे निकल चुकी है। लेकिन पहले नज़ारा कुछ और ही था।
पहले जब आप किसी कंपनी से Share खरीदते थे तो वो कंपनी आपके पास Share से जुड़े कागज भेजती थी। वो एक तरह से Proof होते थे।
वो ये दर्शाते थे कि आपने उनसे Share लिया है और उसमें Invest किया है। उसके बाद फिर कभी जब आप उन Share को बेच देते थे तो फिर वो कंपनी के द्वारा दिए गए कागज फिर से कंपनी के पास जाते थे।
वहां कंपनी ये देखती है कि जब आपने Share को बेचा उस समय उसका Rate क्या था और फिर उसी हिसाब से आपको पैसा दिया जाता है।
इस तरह से बहुत ज्यादा समय लगता था और दिमाग अलग खपत होता है। यही कारण भी था कि ज्यादातर लोग Share market में Invest भी नहीं करते थे।
वक़्त के साथ अब सब बदल चुका है। अब आपको कुछ नहीं करना होता है। जैसे ही आप Share खरीदते हैं वो कुछ समय के अंदर ही आपके Account में आ जाता है।
इसके बाद आप जब उसे बेचते हैं तो कुछ समय के भीतर ही आपको पैसे भी दे दिए जाते हैं। पहले तो Share को खरीदने या बेचने के लिए आपको Computer की भी ज़रूरत पड़ती थी लेकिन अब ऐसा नहीं है।
अब आप अपने मोबाइल फोन से ही इन्हें खरीद या बेच सकते हैं।
मगर हां दोस्तों एक और ज़रूरी बात ये है कि Demat account को खोलने के लिए आपके पास PAN card ज़रूर होना चाहिए। बिना PAN card के आप ये Account नहीं खोल सकते हैं।
Demat account को खोलने में कितने रुपये लगते हैं?
बहुत से लोगों ने ये सोच लिया होगा कि अब ये Share market से जुड़ा है तो इसको खोलने में पैसे भी ज्यादा ही लगेंगे।
दोस्तों ऐसा बिल्कुल भी नहीं है। आप बस 300 या 700 रुपये में इस Account को आराम से खोल सकते हैं।
इसके बाद आप बिना किसी रोक के Share में Invest करना भी शुरू कर सकते हैं।
आप इस Account को 300 रुपये में या इससे थोड़ा सा ज्यादा में बेहद आसानी से खोल सकते हैं लेकिन इसको चलाने के लिए DP आपसे तरह तरह की फीस ले लेता है।
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अलग अलग कंपनी में ये फीस अलग अलग भी हो सकती है। इसके साथ ही हर चीज़ की फीस भी अलग ही होती है।
सबसे पहले इसमें आपसे Account opening की फीस ली जाती है। फिर आपसे Annual management की फीस ली जाती है।
ये Account को Manage करने के लिए ली जाती है। कंपनी आपसे शुरुआत में ही ये फीस ले लेती है और सालभर Account की देखरेख की जिम्मेदारी उसी की होती है।
एक तरह की Custodian फीस भी कंपनी आपसे लेती है। कभी कभी ये पूरे साल के लिए ले ली जाती है और कभी कभी महीने पर आपको ये देना पड़ता है।
इसी तरह से एक Transaction फीस भी होता है जो Share के आदान प्रदान पर लगती है।
दोस्तों अगर आप अभी Share market में कदम रख ही रहे हैं तो आपको पहले सके बारे में ढंग से जानना होगा नहीं तो आपको भारी नुकसान उठाना पड़ सकता है।
Demat account खोलता कौन है?
ये जानना बेहद आवश्यक है। भारत की बात अगर करें तो दोस्तों यहां पर दो संस्थाएं हैं, एक तो NSDL (National Securities Depository Limited) और दूसरी CDSL ( Central securities depository limited), ये दोनों ही Demat account खोलती हैं।
इन Depositories के 500 से भी ज्यादा एजेंट्स हैं और इन एजेंट्स को Depository participants के नाम से जाना जाता है।
इनको हम लोग आम भाषा मे DP के नाम से जानते हैं। अभी इसी DP की बात हमने आपसे ऊपर भी की थी। इन्हीं का काम होता है Account खोलने का।
किसी Bank का ही DP होना ज़रूरी नहीं है। ऐसे बहुत सारी संस्थाएं हैं जो आपका Account खोलती हैं।
उनमें से कुछ प्रमुख संस्थाएं हैं- India infoline, sharekhan आदि। Demat account अगर आप भी खोलना चाहते हैं तो आप चाहें तो इनके Office जाकर Account खुलवा लें।
अगर ये संभव नहीं है तो भी कोई दिक्कत नहीं है। आप घर बैठे Internet की मदद से Online भी इस Account को खोल सकते हैं।
बस हां आपको PAN card zarur रखना है। अगर PAN card नहीं तो Demat account भी नहीं।
Demat account के क्या फायदे हैं?
Share market में दोस्तों फायदा पहले और नुकसान बाद में देखा जाता है। आइए फिर देखते हैं कि इस Demat account के क्या फायदे हैं।
◆ अगर पहले की बात करें तो Shares को Transfer करना एक बहुत झंझटी काम होता था। इसमें समय भी काफी लगता था।
कई बार तो इसमें महीनों का भी समय लग जाता था। अब जब से Demat account आया है तब से काम बहुत ही आसान हो गया है।
अब तो फटाक से आप Share को एक Account से दूसरे Account में Transfer कर सकते हैं। जैसे ही Share transfer हो जाते हैं न, उसके कुछ ही समय बाद ये उसके Account में दिखने लगते हैं जिसको कि ये भेजे जाते हैं।
◆ एक वो भी समय था जब Share को बेचना बड़ा मुश्किल काम होता था। उस समय आप केवल विषम संख्या में ही Share बेच सकते थे।
इसके अलावा आप किसी एक ही समूह में ही उसको बेच सकते थे। लेकिन अब ऐसा नहीं है। अब तो आप चाहें तो एक अकेले Share को खरीद और बेच सकते हैं। ये सब Demat account की ही बदौलत है।
◆ अब एक फायदा ये भी हुआ है कि Share के चोरी होने और धोखाधड़ी की समस्या नहीं होती है। ऐसा शायद इसलिए है कि जो Shares हैं वो Electrical फॉर्म में होते हैं। इससे सुरक्षा भी बढ़ जाती है तथा इसी के साथ में Risk भी बहुत कम हो जाता है।
◆ पहले Shares के प्रमाणपत्र हुआ करते थे मगर अब आप चाहें तो Nominate कर सकते हैं। आप जब Demat account खोलते हैं न तो आप उसे व्यक्तिगत रूप से चाहें तो Nominate भी कर सकते हैं।
दोस्तों तो ये थी Demat account से जुड़ी जानकारी। अगर Share market में आप Invest करते हैं या फिर करने के बारे में सोच रहे हैं तो आपको इसके बारे में ज़रूर पता होना चाहिए।
वो जमाना चला गया जब आपके Share खरीदने पर कंपनी आपको कागज भेजा करती थी। अब सारा काम Demat account से ही होता है।
इसीलिए आपको इसके बारे में पता ही होना चाहिए। इसके साथ ही इस Account को खोलने के लिए आपके पास PAN card भी होना चाहिए।
इसके आने से पहली चीज़ तो ये है कि Share के खो जाने या धोखाधड़ी होने का Risk कम हो गया है। साथ मे ये काफी Safe भी है। ये एक Electrical फॉर्म में होता है इसीलिए ये बेहद सुरक्षित होता है।
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