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एस्क्रो खाता क्या होता है?

Bank में Account होना सभी के जीवन के बुनियादी ढांचे का एक हिस्सा है।

अगर बात अपने India की करें तो यहां पर लगभग हर माता पिता अपने बच्चों के भविष्य की चिंता करते हुए, उनके थोड़े बड़े होते ही, उनका एक Bank account ज़रूर Open करवा देते हैं।

बच्चे को School भेजा जाए या न भेजा जाए इसकी चिंता Parents को बाद में होती है। सबसे पहले चिंता Parents को उनके बच्चों के Bank खाते को लेकर ही होती है।

माता पिता ऐसा शायद इसलिए करते हैं ताकि उनके बच्चों के अंदर Savings करने की एक आदत आ सके।

अगर बड़े स्तर पर देखा जाए, तो जो Bank खाते होते हैं वो राष्ट्रीय स्तर पर Savings के पैसे जुटाने और उसे सही इस्तेमाल में लगाने का एक बहुत ही महत्वपूर्ण साधन है।

वैसे अब हम प्रधानमंत्री जन धन योजना का शुक्रिया अदा कर सकते हैं क्योंकि इसी योजना की ही ये बहुत ही शानदार पहल है कि आज लगभग हर भारतीय नागरिक का अपना एक Bank account है।

इसका इस्तेमाल भारतीय भविष्य में बचत करने के लिए और फिर Invest करने के लिए करते हैं। जैसे जैसे Banking sector अपना विस्तार करता जा रहा है, ठीक वैसे ही इनके खातों की List भी बढ़ती जा रही है।

आज Bank खाते Accessories, liquidity तथा ब्याज कमाने की क्षमता के हिसाब से अलग अलग तरह के होते हैं। इनमें से एक एस्क्रो खाता भी है।

एस्क्रो खाते के बारे में शायद ही किसी ने सुना होगा। बहुत ही कम लोग हैं जिन्हें इसके बारे में जानकारी होती है।

इस Article में हम आप सबको इसी के बारे में बताने जा रहे हैं। आज इस Article के जरिए हम आप सबको बताएंगे कि आखिर ये एस्क्रो खाता क्या होता है और इसका क्या लाभ होता है।

एस्क्रो Account क्या होता है?

ये मुख्यतः एक ऐसा Account होता है जो किसी भी Financing agency में खरीददार व विक्रेता दोनों के लिए खोला जाता है।

इससे आप ये कह सकते हैं कि जो ये Account होता है ये विक्रेता और खरीददार के बीच Deal को सुनिश्चित करता है।

इससे विक्रेता और खरीददार के बीच का वो डर समाप्त होता है जो उन्हें पैसे को लेकर हरदम सताता रहता है कि ‘एक दूसरे को माल व पैसा समय से मिलेगा भी या नहीं’। 

 अगर बात करें इस खाते की तो इससे एक तरह से Risk को कम किया जाता है। फिर चाहे वो विक्रेता हो या खरीददार दोनों ही अपने Risk को कम करने के लिए ही इस Account का लाभ उठाते हैं।

इससे उन्हें ये तसल्ली हो जाती है कि किसी भी पक्ष के द्वारा उनसे धोखाधड़ी नहीं की जा सकती है।

इस Account को सुरक्षा कवच के तौर पर भी जाना जाता है। इससे पैसे और वित्तीय संपत्ति के लेन देन को सुरक्षित करके दो पार्टियों के बीच मे एक विश्वास को Create किया जाता है।

ये एक वित्तीय साधन है जिसमें कि दो पार्टियों को तरफ से एक परिसंपत्ति व पैसे को किसी तीसरे पक्ष के पास रख दिया जाता है। ये दो पार्टियों के बीच में लेन देन की प्रक्रिया को पूरा करता है।

आइये हम आपको इसको एक उदाहरण से समझाते हैं। मान लीजिए कि आप मुझे कुछ बेचना चाहते हैं और मुझे भी आपसे वो चीज़ खरीदनी है मगर हम दोनों एक दूसरे को जानते नहीं है, इसीलिए हमें एक दूसरे के लेन देन पर विश्वास भी नहीं है।

ऐसे में जब तक मैं आपकी सारी Terms and conditions को समझ नहीं लूंगा तब तक मैं आपको Payment नहीं करूंगा।

इसीलिए हम दोनों एक समझौते के पेपर पर Signature करेंगे और ये जो समझौता आयोजित किया जाएगा यानी आपके सामान के लिए और मेरे पैसों के लिए इसको किसी तीसरे पक्ष के द्वारा आयोजित किया जाएगा। फिर आगे की प्रक्रिया पूरी होती है।

यानी सारी Terms and conditions को समझने के बाद ही आप Payment की मांग करते हैं। आप जब मेरे प्रमाण से सहमत हो जाऊंगा तभी तीसरे पक्ष को आप Payment करने की अनुमति देते हैं।

दोस्तों इस पूरे Process में जिस समझौते की हमने बात की है न, जिस पेपर पर वो समझौता लिखा जाता है, उसी को एस्क्रो के नाम से जाना जाता है।

अगर कानूनी तौर पर देखें तो इसको एक Contractual agreement के रूप में जाना जाता है।

इसमें खरीददार और विक्रेता की तरफ से Payment को प्राप्त करने के लिए और पैसों का भुगतान करने के लिए एक तीसरे पक्ष को शामिल किया जाता है।

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एस्क्रो Account कैसे काम करता है?

वैसे तो इस तरह के Account को Open करना एक Typical process है। लेकिन आज एस्क्रो सेवा प्रदाता आसानी से इस Account को Open करने की सुविधा प्रदान करवाते हैं। आइए अब जानते हैं कि ये कैसे काम करता है।

दोस्तों ये एक Holding tank की तरह से काम करता है। इसमें एक अचल संपत्ति के लेन देन के दौरान एक एस्क्रो अधिकारी के द्वारा आपके सारे महत्वपूर्ण Documents को जमा कर लिया जाता है।

इसके बाद खरीददार और जो विक्रेता होते हैं वो सौदे का Description देते हैं।  अगर आमतौर पर देखा जाए तो एक वकील या फिर कंपनी प्रतिनिधि ही एस्क्रो अधिकारी के तौर पर काम करता है।

एस्क्रो अधिकारी को Deal की Total कीमत में से 1 प्रतिशत से 2 प्रतिशत तक का शुल्क मिल जाता है।

एक एस्क्रो अधिकारी का काम ये होता है कि वो सुनिश्चित करे कि जो समझौता हुआ है उसका समापन सुचारू रूप से हो सके और एस्क्रो Account से सभी को Payment किया जाए।

एस्क्रो Account का इस्तेमाल कहां पर होता है?

ये जो Account होता है ये मुख्य तौर पर बड़े सौदों के लिए सुरक्षा प्रदान करता है जैसे विलय, अधिग्रहण, सीमा पार सौदे आदि में होने वाले घोटाले व धोखाधड़ी आदि के खिलाफ।

इसको ज्यादातर Account holder सुरक्षित लेन देन करने के लिए करते हैं। इसके अलावा कई बार बंधक ऋणदाता Property tax और बीमे का भुगतान करने के लिए एस्क्रो में पैसा रखते हैं।

एस्क्रो खाता अन्य Bank account से किस तरह से अलग है?

ये एक ऐसा खाता होता है जिसमें एक Account holder मासिक रूप से पैसे जमा करता है।

इसमें Bank को कुछ निश्चित दायित्वों के भुगतान के लिए ही धन निकालने के लिए अधिकृत करता है।

ये ज्यादातर कम्पनियों के मामले में उपयुक्त साबित होता है। कोई भी ऐसी कम्पनी जिसको अपना आईपीओ लाना होता है वो एस्क्रो Account ज़रूर Open करवाती है।

इसके लिए उन्हें Bank को अधिकृत करना पड़ता है। वहीं बात करें Share की तो Share के लिए निवेशक पैसे इसी Account में जमा करते हैं।

दोस्तों तो अब आप सब समझ ही गए होंगे कि एस्क्रो खाता क्या होता है। इसमें एक तीसरी Party को शामिल किया जाता है।

इससे एक मजबूत Financial पृष्ठभूमि बनकर तैयार हो जाती है। ये विभिन्न कानूनों के अनुरूप काम करती है।

एक एस्क्रो खाता बहुत ज्यादा सुरक्षित होता है क्योंकि एक अनुभवी प्रबंधन ही इस खाते की देखभाल करता है। ये किन्हीं दो Party के बीच मे एक Trust को Build up करने का काम करता है।

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